सूरह अल फातेहा पढ़ने की फज़ीलत।Sureh al fatiha padhne ki fazilat.
सूरह अल फातेहा कुरान की पहली सूरह हैं। इसमें कुल 7 आयतें हैं जिसमे अल्लाह के बताये रास्तों पर चलने उसकी ताकत और गुनाहों से …
सदक़ा करने की फज़ीलत।Sadqa karne ki fazilat.
अल्लाह की राह में खर्च करना बड़े सवाब का काम हैं। जो लोग अल्लाह की राह में अपनी दौलत खर्च करते हैं अल्लाह ऐसे लोगों …
अस्तग़फिरुल्लाह पढ़ने की फज़िलत।Astagfirullah padhne ki fazilat.
इंसानी फितरत में है की उससे गलती या गुनाह हो जाते है और इसके बाद इंसान अपने किये पर शर्मिंदा हो कर सच्चे दिल से …
माँ-बाप को तकलीफ़ देने की सज़ा।Maa baap ko taqleef dene ki saza.
अल्लाह रब्बुल-इज्ज़त नें इरशाद फ़रमाया कि- तुम अपने माँ-बाप के साथ अच्छा बर्ताव किया करो। अगर तुम्हारे सामने उनमें एक या दोनों बूढ़े हो जायें …
सतर और परदे का हुक्म।Satar aur parde ka huqm.
शरीअत में एक हुक्म तो लिबास और सतर का है और ये हुक्म मर्द व औरत दोनों के लिए है। मर्दों के लिए नाफ़ से …
मोमिन की कब्र और असल ज़िन्दगी।Momin ki kabr aur asal zindagi.
हदीसों को पढ़ने से साफ़ मालूम होता है कि मरने वाले को देखने में हम भले ही मुर्दा समझते हैं लेकिन सच तो यह है …
भाई और बहन की मुहब्बत।Bhai aur bahan ki muhabbat.
भाई और बहन के दिल में अल्लाह रब्बुल्-इज़्ज़त ने मुहब्बत डाली। परदेस में बहन है। अपने बच्चों के साथ शौहर के साथ खुशियों भरी ज़िन्दगी …
इमाम आज़म इमाम अबू हनीफा रह० और हसद करने वाले।Imam azam Imam abu haneefa (r.a)aur hasad karne wale.
इमाम आज़म रह० से हसद करने वाले दो तरह के थे। बाज़ लोग उनकी इल्मियत और क़ुबूलियत की वजह से जलते थे। ऐसे लोगों का …
मालिकों और गुलामों का इन्साफ।Maliko aur Gulamo ka insaaf.
हज़रत आइशा (र.अ)रिवायत फरमाती हैं कि रसूलुल्लाह (स.व)की ख़िदमत में एक शख़्स आकर बैठ गया। उसने अर्ज़ किया, ऐ अल्लाह के रसूल ! बिला शुब्हा …