एक औरत और ज़िन्दगी का सच | Ek Aurat aur zindagi ka sach.
किताबों में लिखा है कि हज़रत मूसा अलैहिस्सलाम की ख़िदमत में एक औरत आयी। कहने लगी हज़रत ! दुआ के लिए आयी हूँ मेरे बच्चे …
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किताबों में लिखा है कि हज़रत मूसा अलैहिस्सलाम की ख़िदमत में एक औरत आयी। कहने लगी हज़रत ! दुआ के लिए आयी हूँ मेरे बच्चे …
हज़रत नूह अलैहिस्सलाम की जब वफात हुई एक हज़ार पचास साल की उम्र गुज़ारने के बाद, अल्लाह तआला ने पूछा ऐ मेरे पैग़म्बर ! बताईये …