निकाह का बयान।Nikah ka Bayan-1

Nikah ka bayan
हज़रत अनस बिन मालिक रज़ियल्लाहु अन्हु ने कहा कि तीन आदमी रसूलुल्लाह सल्लल्लाहु अलैहि व सल्लम की पाक बीवियों के घर पर आये, उन्होंने रसूलुल्लाह सल्लल्लाहु अलैहि व सल्लम की ...
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निकाह से पहले लड़की देखना।Nikaah se pahle ladki Dekhna

Nikah se pahle ladki dekhna
किसी लड़की या औरत को किसी गैर मर्द को उस वक्त दिखाने मैं कोई हर्ज नहीं जब वोह उस से शादी का इरादा रखता हो या उस से शादी का ...
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इस्तेहाजा और उस का हुक्म।Istehaza aur uska huqm

Istehaza aur uska huqm
इस्तेहाजा उस खून को कहते हैं जो हमेशा जारी रहता है कभी बन्द नहीं होता है। या बहुत कम दिनों यानी महीने में दो तीन दिनों के लिए रुकता हो ...
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औरतों की बीमारियाँ नुस्खे और रुहनी इलाज। Aurato ki Bimariyan Nuskhe aur Rohani Ilaj.

Janana aurato ki bimariyan nuskhe aur rohani ilaj
औरतों में भी तरह तरह की जिन्सी बीमारियाँ होती है। इनका जानना जरूरी है, हम यहाँ चन्द बीमारियों के बारे में लिख रहे हैं । लीकोरिया :- ये बड़ी ख़तरनाक ...
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बिस्मिल्लाह की बरकतें, Bismillah ki Barkate.

Bismillah ki barkate
उलेमा ने लिखा है कि जब इनसान जिस्म से अपने लिबास को हटाये, अगर वह बिस्मिल्लाह पढ़ ले तो अल्लाह तआला उसके गिर्द एक हिफ़ाज़त का पर्दा डाल देते हैं। ...
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फातिहा पढ़ने की फज़िलत।Fatiha Padhne ki Fazilat.

Fatiha padhne ki fazilat
बहोत से मुसलमान इसाले सवाब यानी फातिहा का तरीका नही जानते। उन्हे इस बात का भी इल्म नही है के जिस घर में फातिहा पढ़ी जाती है उस घर में ...
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हमबिस्तरी करने से पहले ख़ुशबू का इस्तेमाल।Hambistari karne se pahle Khushbu ka istemal.

Hambistari karne se pehle khushbu lagana
सोहबत (हमबिस्तरी) से पहले खुशबू लगाना बेहतर है। खुशबू सरकारे मदीना सल्लल्लाहो तआला अलैहि व सल्लम को बहुत पसंद थी । आप (स.व)हमेशा ख़ुशबू का इस्तेमाल किया करते थे ताकि ...
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हमबिस्तरी के चन्द आदाब।Hambistari ke chand Aadab.

Hambistari ke chand adaab
मज़हबे इस्लाम हमारी हर जगह हर हाल में रहनुमाई करता हुआ नज़र आता है यहाँ तक कि मियाँ, बीवी, के आपसी तअल्लुकात में भी एक बेहतरीन दोस्त व रहनुमा बन ...
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हमबिस्तरी के दौरान शर्मगाह देखना।Hambistari ke Dauran Sharmgah dekhna.

Hambistari ke dauran sharmgah dekhna
मसअला :- मियाँ बीवी का सोहबत के वक्त एक दूसरे की शर्मगाह को मस करना बेशक जाइज़ है बल्कि नेक नियत से हो तो मुस्तहब व सवाब है” ।(फतावा-ए-रज़वीया जिल्द ...
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हमबिस्तरी के दौरान किसी और का ख़्याल ।Hambistari ke Dauran kisi aur ka khayal.

Hambistari ke dauran kisi aur ka khayal
सोहबत के दौरान मर्द किसी दूसरी औरत का और औरत किसी दूसरे मर्द का ख़्याल न लाऐं। यानी ऐसा न हो कि मर्द सोहबत तो करे अपनी बीवी से और ...
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